परछाई
पानी में परछाई भी अजीब थी धुंदली सी थी मगर सच्चाई के कुछ करीब थी वो पानी छलका तो मानो , दिल हल्का हो गया छलकी सी आँखों को सहारा मिल गया और बह गए सारे पल ,अब बस एक हलकी सी मुस्कराहट बाकी है परछाई अभी भी धुंदली सी है मगर कुछ साफ़ है - शायद दिल का वो कोना क्यूंकि रंग बदले नहीं आस्मां अभी भी नीला है हवा छु कर गुज़रे तो गुदगुदी अभी भी करती पर फिर भी नई सी लग रही थी ज़िन्दगी पानी मैं वो परछाई अजीब थी धुंदली सी थी मगर कुछ सच्चाई के करीब थी #water #heart #786snehil #honesttoyourself