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Showing posts from January, 2011

MASTI

ढूँढ  ज़रा सी मस्ती  , खो गयी थी जो यही कहीं, इन लम्हों में,  रोज़ की  राहों में. घूम के निकल ,हवा संग चल अब तू ओ यारा. मौसम  आया संदेसा ले के..... बदल रहा है हर पल, हसी बिखेरते   चल रंगों को उड़ाते चल हाथ मिला नच ले मस्ती संग ज़रा सा   तू भी मज़ा  कर ले !!!!!!!!!!!!!!!! मस्ती मिली तो झूम , न मिली तो थोडा और ढूंड पर मुस्कुरा , खिलखिला  ,न रो किसी बात पे तारों पे है कहीं कोई दास्तान छुपी आसमान पे  कहीं न कहीं लिखी अपनी भी कहानी................. न सोच न दिमाग लगा आने वाला कल , कल ही आएगा पर जाने वाला पल तो छुटता ही जायेगा पकड़  उस पल को कहीं ज़रा सी मस्ती ढूंड यहीं .............. हाथ मिला  नच ले मस्ती संग ज़रा तू  भी मज़ा कर ले!!!!!!!!!!!!!!!

Jaan-e-man

ख्वाबों  की शहज़ादी तू दिलों में फूलों की वादी भी तू तू ही मेरी दिल धड़कन तू ही मेरा तन मन तू ही तो है मेरी , है मेरी तू ही तो  जान-ए-मन तू ही मेरी जान-ए-मन....... (2) पल पल जो तू मुस्कुराये सारा जहाँ मेरा खिल जाये फिज़ाओं में महक तेरी  बहने लगी शहज़ादी तू मेरी होने लगी..... तू ही मेरी दिल धड़कन .... तू ही मेरी जान-ए-मन....... (2)  भीगी भीगी सी बारिशों में आधी अधूरी ख्वाहिशों में हर लम्हा तुझसे बढती गयी मोहब्बत शहज़ादी तू ही मेरी जन्नत..... तू ही मेरी दिल धड़कन .... तू ही मेरी जान-ए-मन....... (2)